Manoj Jarange Patil :मराठा आरक्षण को लेकर मनोज जारांगे पाटिल ने महाराष्ट्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा है कि उनके द्वारा मराठा आरक्षण (Maratha Reservation) लागू करने के लिए महाराष्ट्र की एकनाथ शिंदे सरकार को दी गई 40 दिन की समयसीमा में से आधा समय बीत गया है. जारांगे मराठा समुदाय को आरक्षण देने की मांग को लेकर राज्य के जालना जिले में भूख हड़ताल पर थे और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) ने उनसे मुलाकात की थी और उनकी मांग पूरी करने का आश्वासन दिया था जिसके बाद उन्होंने 14 सितंबर को भूख हड़ताल के 17वें दिन अपना अनशन समाप्त किया था.
मनोज जारांगे पाटिल ने यहां छत्रपति शिवाजी महाराज चौक पर मराठा समुदाय के सदस्यों को संबोधित करते हुए कहा, “ मराठा आरक्षण की लड़ाई अपने अंतिम चरण में है. इसलिए हमें एकजुट रहना चाहिए और खुद को बंटने नहीं देना चाहिए.” जारांगे मराठा समुदाय के सदस्यों के साथ बातचीत करने के लिए अपने राज्यव्यापी दौरे के तहत यहां पहुंचे. उन्होंने कहा, ‘हमने सरकार को 40 दिन की समयसीमा दी थी. अब केवल 20 दिन बचे हैं.
यह भी पढ़े : मुंबई मेट्रो में सफर करने वालों के लिए खुशखबरी
बता दें कि मराठा आरक्षण की लड़ाई लंबे समय से लड़ी जा रही है. महाराष्ट्र सरकार भी मराठाओं को आरक्षण देने का पूरा पूरा प्रयास कर रही है, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने आरक्षण की सीमा की जो दीवार खड़ी कर रखी है, उसे लांग पाना बेहद कठिन है. वहीं दूसरी और मराठा समुदाय के लोगों की मांग है कि उन्हें भी नौकरियों और शिक्षा में आरक्षण दिया जाए, जैसे पिछड़ी जातियों को दिया गया है. जबकि सुप्रीम कोर्ट मराठा समुदाय के पिछड़ा होने की बात से इनकार कर चुका है.